मध्य प्रदेश की जलवायु /Climate of MP

 

                              मध्य प्रदेश की जलवायु 

 मध्य प्रदेश की जलवायु  उष्ण कटिबंधीय मानसूनी प्रकार की जलवायु है मध्य प्रदेश की जलवायु को मुख्यतः 4  जलवायु प्रदेशो में बाटां गया है जो की इस प्रकार है :-


India, Panchgani, Hill Station, Valley

  1. उत्तर का मैदान 
  2. मालवा का पठार
  3. विन्ध पर्वतीय क्षेत्र 
  4. नर्मदा सोन एवं दक्षिण पूर्वी क्षेत्र 


  1 . उत्तर का मैदान :-उत्तर के मैदानी भागो के अंतर्गत राज्य के निम्न जिले नीमच ,अशोकनगर ,भिंड ,दतिया ,मुरैना ,छतरपुर,पन्ना तथा सतना के उत्तरी भाग आते है  इस भाग में गर्मी में अधिक गर्मी तथा ठण्ड में अधिक ठण्ड पड़ती है तथा औसत बर्षा 75 सेमी के लगभग होती है, इस भाग में मानसून की दोनों शाखाओ बंगाल की खाड़ी शाखा और अरब सागर शाखा से बर्षा होती है चूँकि राज्य का यह भाग समुद्र तट से अधिक दूरी पर स्थित है जिसके कारण मानसून की दोनों शाखाओ में घर्षण होने से तापमान में वृद्धि हो जाती है जिससे आर्द्रता  एवं वर्षा की मात्रा कम हो जाती है          


2. मालवा का पठार  :-  इस भाग में शुष्क महाद्वीपीय  जलवायु  के लक्षण पाए जाते है और समशीतोष्ण जलवायु पाई जाती है तथा औसत बर्षा 50 -75 सेमी के लगभग होती है, इस भाग में  अरब सागर शाखा की मुंबई शाखा से  बर्षा होती है 

 

 3 . विंध्य पर्वत श्रृखंला :-   राज्य के  इस भाग में गर्मी में अधिक गर्मी तथा ठण्ड में अधिक ठण्ड पड़ती है तथा औसत बर्षा 50 -100  सेमी के लगभग होती है, इस भाग में मानसून की दोनों शाखाओ बंगाल की खाड़ी शाखा और अरब सागर शाखा से बर्षा होती है  इस क्षेत्र के पश्चिमी भागो की तुलना में पूर्वी क्षेत्रो में अधिक बर्षा होती है जिसका कारण पूर्वी भागो में चक्रवातीय बर्षा का प्रभाव है 


4  . नर्मदा सोन घाटी एवं दक्षिण पूर्वी क्षेत्र  :-   राज्य के  इस भाग में गर्मी में तापमान एवं आर्द्रता की अधिकता से उमस भरी गर्मी पड़ती है जिससे मौसम कष्टदायी होता है , इस भाग में मानसून की दोनों शाखाओ बंगाल की खाड़ी शाखा और अरब सागर शाखा से बर्षा होती है  इस क्षेत्र के पूर्वी क्षेत्रो में अधिक बर्षा होती है जिसका कारण पूर्वी भागो में बंगाल की खाड़ी का  मानसून एवं चक्रवातीय बर्षा का प्रभाव है मध्य प्रदेश के  दक्षिण पूर्वी क्षेत्र में गर्मी और सर्दी सामान्यतः कम होती है  तथा औसत बर्षा 125 -150   सेमी के लगभग होती है इस क्षेत्र के  होशंगाबाद जिले में स्थित पंचमढ़ी में राज्य की सबसे ज्यादा बर्षा होती है 


👉क्या आप जानते है ?


*कर्क रेखा मध्य प्रदेश के 14 जिलों से होकर गुजरती है जो क्रमशः रतलाम ,उज्जैन ,आगर-मालवा ,राजगढ़ ,सीहोर ,भोपाल ,विदिशा ,रायसेन ,सागर ,दमोह, कटनी ,जबलपुर ,उमरिया तथा शहडोल हैा 


*मध्य प्रदेश में ग्रीष्म ऋतु को युनाला ,शीत ऋतु को सियाला  ,एवं बर्षा ऋतु को चौमासा कहते हैा 


* बर्ष 1995 में गंजबासौदा में सबसे ज्यादा तापमान दर्ज किया गया था (48. 9  डिग्री सेल्सियस )


*राज्य का सबसे गर्म स्थान भिंड हैा 


* राज्य में सबसे कम बर्षा भिंड के गोहद में होती हैा 


* राज्य का सबसे ठंडा स्थान शिवपुरी  हैा


* मध्य प्रदेश को उच्च भूमियो का प्रदेश कहा जाता है क्योकि इसके अधिकांश भाग की ऊंचाई समुद्र तल  से 300 मी. हैा 


*मध्य प्रदेश एक भू-आवेष्टित (Land  Locked ) राज्य हैा 


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